Saturday, 17 June 2023

तनावपूर्ण होते चीन - दक्षिण कोरिया के सम्बन्ध

 चीन के राजदूत सींग हाई-मिंग के बयान के बाद चीन और दक्षिण कोरिया के बीच का तनाव एक बार फिर से सुर्ख़ियों में है।

    तस्वीर मेरे द्वारा खींची गई चीन -कोरिया की 30वी वर्षगांठ पर आयोजित एक कार्य्रकम की है। 

डॉ संजय कुमार (दक्षिण कोरिया से)

गौरतलब है कि पिछले सप्ताह  दक्षिण कोरिया में चीन के राजदूत सींग हाई मिंग ने दक्षिण कोरिया के सत्ताधारी दल की ओर इशारा करते हुए कहा था --

"कुछ लोग (सत्ताधरी दल के)  शर्त लगा रहे हैं कि संयुक्त राज्य अमेरिका और चीन की प्रतिद्वन्दता में अमेरिका ही जीत  जाएगा और चीन की हार होगी । जो लोग चीन की हार पर दांव लगा रहे हैं, वह निश्चित रूप से बाद में पछताएंगे।"

यह बयान  राष्ट्रपति ऑफिस, विदेश मंत्रालय , मीडिया और कोरिया के जनमानस में आग की तरह फैल सी गई । आग को बुझाने की बजाय घी डालने वाले लोगों की तादाद बढ़ने लगी । चीनी राजदूत को कोरिया के उप विदेश मंत्री ने तलब कर दिया, चीन का विदेश मंत्रालय भी त्वरित और पारस्परिक कदम उठाकर चीन में कार्यरत दक्षिण कोरिया के राजदूत को भी तलब कर दिया। दोनों देशों के कूटनीतिक गलियारों में चर्चाओं का माहौल और राजनयिक विवाद जैसे को तैसा में तब्दील हो गया ।

संबंधों की खटास हाल के वर्षों में नया नहीं लेकिन क्षेत्रीय स्थिरता और सहयोग की नई भूराजनीतिक जमीन तैयार कर सकती है इससे इंकार नहीं किया जा सकता । अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन जो अभी चीन के दौरे पर हैं उन्होंने चीन के साथ "स्वस्थ और परिपक्व" सहकारी संबंध विकसित करने के दक्षिण कोरिया के प्रयासों का समर्थन किया है। यह सलाह द्विपक्षीय तनाव को कम करने में मदद करेगा ऐसे आसार हैं ।

चीन और कोरिया की ऐतिहासिक विरासत और आधुनिक प्रतिद्वंद्वितासदियों के सांस्कृतिक आदान-प्रदान और साझा मूल्यों से बंधी रही  हैं। कोरियाई युद्ध और चीन-सोवियत विभाजन जैसे घटनाक्रमों ने  संबंधों को पहले भी  तनावपूर्ण बनाया था । लेकिन पूर्व एशिया में विकास की पटरी लगभग 3 दशकों में साथ चलने के बाद आर्थिक अन्योन्याश्रय: में चीन और कोरिया की आर्थिक साझेदारी और उनके संबंधों की आधारशिला रही  है । द्विपक्षीय व्यापार और निवेश लगातार  बेहतर होते चले गए ।  

लेकिन वर्तमान में दक्षिण कोरिया के परस्पर आर्थिक निर्भरता दोधारी तलवार सी हो चुकी है जिससे दक्षिण कोरिया चीन की आर्थिक नीतियों के संभावित नतीजों को लेकर संवेदनशील हो गया है। चीन में सक्रिय कोरियाई कंपनियों पर हाल के व्यापार विवाद और प्रतिबंध उनके आर्थिक संबंधों की नाजुकता को उजागर करते हैं। दोनों देशों को अपने हितों की रक्षा , दक्षिण चीन सागर में चीन की मुखरता और दक्षिण कोरिया में थाड(THAAD ) मिसाइल रक्षा प्रणाली की तैनाती जैसे मुद्दों से प्रभित रही और  पिछले कुछ वर्षों में ज्यादा गहरी होती जा रही ।अमेरिकी-चीनी प्रतिद्वन्दता के बीच आपसी आर्थिक विकास को बढ़ावा देना दक्षिण कोरिया के लिए  बड़ी चुनौती है।

कोरिया के युवा वर्गों में चीन के प्रति नकारात्मक धारणाएं खासकर मास मीडिया के माध्यम से प्रचारित माध्यमिक स्रोत की जानकारी, मौजूदा सांस्कृतिक आधारित रुझान का टकराव जैसे कि हाल में चीन में किमची की उत्पत्ति इत्यादि, और दक्षिण कोरिया में रह रहे चीनी नागरिकों का कोरियाई रियल एस्टेट निवेश में बढ़ रही भागीदारी को लेकर पनप रही चीन के प्रति अनिच्छा इत्यादि प्रबल हैं और दोनों देशों के संबंधों की नकारात्मकता में योगदान दे रहा है। राजनयिक स्तर पर इसे कम करने की कोशिश की जानी चाहिए ।

पूर्वी एशिया के भू-राजनीतिक परिदृश्य चीन का  वैश्विक शक्ति के रूप में उदय और रूस - उत्तर कोरिया जैसे देशों के साथ चीन की बढ़ती मुखरता-निकटता और साझा रणनीतिक हितों को देखते हुए दक्षिण कोरिया में चिंता ज्यादा हो रही है। लेकिन यह कितनी उचित चिंता है --आने वाले वर्षों में ही सामने आ पायेगा ।


   तस्वीर मेरे द्वारा खींची गई चीन -कोरिया की 30वी वर्षगांठ पर आयोजित एक कार्य्रकम की है। 

संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ सियोल के गठबंधन और उत्तर कोरिया में चीन और रूस  का प्रभाव क्षेत्रीय स्थिरता को बाधित करेने और  कोरियाई प्रायद्वीप पर परमाणुकरण पर रोक जैसे मुद्दों को बाधित करने की क्षमता रखता है। ऐसी परिस्थति में बिगड़ते चीन-कोरिया संबंधों को हल करने के लिए एक आपसी समझ पर आधारित व्यावहारिक कूटनीति का दृष्टिकोण और दोनों देशों  खुले चैनल को सक्रिय बना रचनात्मक संवाद करना समय की जबरदस्त मांग हैं । 

आक्रामक बयानबाजी और दंडात्मक रुख के बजाय आम जमीन की तलाश कर सहयोग के रास्ते  ढूंढे जाने चाहिए अन्यथा मुद्रास्फीति और कमोडिटी की कीमतें और बढ़ेंगी। 

सॉफ्ट पावर की पहल, सांस्कृतिक आदान-प्रदान, और लोगों से लोगों की बातचीत दोनों देशों के बीच समझ और विश्वास को बढ़ावा देगा। तनाव बढ़ने से दोनों देशों को नुकसान होगा इसलिए आर्थिक सहयोग को निष्पक्ष और पारदर्शी प्रथाओं द्वारा निर्देशित किया जाना चाहिए, जिससे दोनों पक्षों के व्यवसायों के लिए एक समान अवसर सुनिश्चित हो सके। व्यापार बाधाओं को कम करने, बाजार पहुंच बढ़ाने और विवाद समाधान के लिए तंत्र बनाने से अधिक लचीला आर्थिक संबंध बनेगा । 

चीन और कोरिया को जलवायु परिवर्तन, सार्वजनिक स्वास्थ्य संकट और क्षेत्रीय सुरक्षा जैसी साझा चुनौतियों से निपटने के अवसर का लाभ उठाना चाहिए जिससे  सहयोगात्मक प्रयास का विश्वास पैदा हो सके । एक स्थिर और सहयोगी चीन-कोरिया संबंध न केवल दोनों देशों के लिए फायदेमंद है बल्कि क्षेत्रीय स्थिरता और पूर्वी एशिया में साझा लक्ष्यों की सामूहिक खोज के लिए भी महत्वपूर्ण है।

चीन को चाहिए कि 1980 के दशक में देंग जिआओ पिंग द्वारा इस्तेमाल की गई वाक्यांश -- ताओ गुआंग यांग हुई (韬光养晦) जो चीन के कूटनीति का हिस्सा भी रहा है उसे अमल में लाकर वर्तमान तनाव को कम करें । 

कोरिया को भी संभलकर कूटनीतिक कदम उठाने होंगे । दोनों देशों के लिए चुनौतीपूर्ण समय है।

डॉ संजय कुमार (कोरिया से )

मानवसंपर्क और बातचीत




संस्कृतियों का विकास केवल भौतिक समानों से ही नहीं बल्कि वैचारिक आदान प्रदान , ज्ञान से ही सम्भव हो पाया। ह्यूग डबरली और पॉल पैंगारो के बातचीत वाले सिद्धांतों का सन्दर्भ मेरे जीवन दर्शन को बहुत भाता है क्योंकि दोनों बंधु बातचीत आदान-प्रदान को रेखांकित करते हैं और सीखने की प्रणाली के रूप में संदर्भित करते हैं।

स्कूल- कॉलेज के दिनों से ही घंटों गंभीर डिबेट-डिस्कशन करना , कई बार बहुत सशक्त बलपूर्वक अपनी बातों को रखना आदत रही लेकिन जैसे- जैसे उम्र बढ़ता गया बातचीत के मायने भी बदल से गए।

खासकर पत्रकारिता - शैक्षणिक टीचिंग में आने के बाद न चाहते हुए भी सुनने की आदत भी पड़ती गयी लेकिन बातचीत के दौरान भावपूर्णता में डूब जाना अभी भी कूट कूट कर व्यक्तित्व में भरा हैं जिसका आनंद आजकल बहुत आ रहा !
अब तो बातचीत जीवोकोपर्जन भी बन चूका हैं इसलिए इसके बिना जीवन अधूरा सा लगता हैं।

ह्यूग डबरली और पॉल पैंगारो जी को पीएचडी के दिनों में पढ़ा था काश बचपन के शरारती दिनों में इन्हे समझता -- पत्रकारिता और पैनी होती !

डॉ संजय कुमार 

Indonesia Night in Daegu promotes fashion diplomacy

 https://www.koreaherald.com/view.php?ud=20230616000535&np=1&mp=1 



 https://www.koreaherald.com/view.php?ud=20230616000535&np=1&mp=1 

Indonesia Night in Daegu promoted fashion diplomacy commemorating 50th years of Indonesia-Korea relations.

Showcasing Indonesia’s diversity through creative economy exhibition and cultural performance, Indonesian embassy highlighted the significance of Tenun as an icon of Indonesian culture.

“For centuries, hand-weaving technique making of Tenun from various provinces of Indonesia is passed on from generation to generation,” said Gandi Sulistiyanto Indonesia Ambassador to Korea adding that Tenun currently is transforming into modern attires and worn by younger generation.

Tenun refers to an artful Indonesian weaving technique to make a fabric of colorful threads known as original cultural heritages preserved till present day.

11 outfits made from Tenun as well as Songket, golden thread hand weaving textile, were showcased and worn by prominent Koreans and Indonesians.

According to Indonesian Embassy in Seoul, each textile is carefully selected by Governor of Bank of Indonesia as each represents Tenun and Songket producing area, different from one another, including Tenun from Negara area in Bali, Songket from Bangka and Belitung, Tenun Pinawetengan in North Sulawes.

Introducing the uniqueness of Tenun under the theme of ‘Closer Friendship through the Beauty of Indonesian Wastra, Indonesia’s Central Bank Governor Perry Warjiyo highlighted that Tenun is usually woven by women who play a leading role in ensuring the craft making is passed to future generations to preserve Indonesia’s priceless cultural heritage.

Wastra means traditional fabrics in Bahasa Indonesian.

“Each piece of Tenun and Songket(a type of textile) cloth, due to its long process of making, is a masterpiece that carries significant economic value,” said Warjiyo.
“Bank of Indonesia is promoting small and medium enterprises in of provinces supervised by Indonesia’s Central Bank,” Warjiyo underlined.

Indonesia government enacted laws and mechanism to promote 17 sub-sectors of creative economy including fashion, craft, and culinary among others.

 “Creativity and industry has to complement each other,” said Indonesia’s Vice Minister for Tourism and Creative Economy Angela H. Tanoesoedibjo in her remarks at the event.
 
 “At the end of the performance, the audience were mesmerized when “Arirang”, a well-known Korean folk song, was sung in a different yet melodious tune,” said Joannes Ekaprasetya Tandjung, Minister Counsellor at Indonesia Embassy in Seoul.

The event was attended by Indonesians, Koreans and artisits and influencers such as Muhammad Rifqi Fakhri Zayyan, Lingkar Kreatif,  Helmy Yahya ,  Geba Cephas , Gina Selvina and welcomed by Gyeongsangbuk-do governor, Lee Cheol Woo for bringing the event in line with the vision of Daegu city to dwell on cultural heritage  and promote creative industry.
 

Indian Embassy celebrates International Day of Yoga



 The Indian Embassy in Seoul held an event Monday to promote the International Day of Yoga on June 21, highlighting the exercise's role in uniting the mind, body, thought and action.

The International Day of Yoga was designated by the United Nations General Assembly in 2014, following a proposal by the Prime Minister of India, Narendra Modi.

"Yoga is a way to discover a sense of oneness with yourself, the world, and nature," Indian Ambassador to Korea Amit Kumar said at the event.

He also stressed the importance of living in harmony with nature and recognizing the impact of every action we take.

To commemorate the 9th International Day of Yoga, the embassy is collaborating with Korean yoga groups in cities across Korea, including Seoul, Gurye, Jeju, Busan and Gwangju.

On June 17, participants will gather at Seoul's Olympic Peace Park for yoga and meditation sessions, fostering a sense of unity and well-being, according to Kumar.

The embassy also appointed Korean actress Chung Ae-rie, and TV panelist Kim Tae-hoon as brand ambassadors for the 9th International Day of Yoga.

Kumar also underlined World Environment Day and introduced "Mission LiFE" (Lifestyle for Environment) initiative of the Indian government to promote sustainable living practices, conserving the environment, and encouraging individuals to become "Pro-Planet People."

Moreover, Kumar applauded the declaration of the United Nations of 2023 as the International Year of Millets.

Introducing nutritional value, suitability for arid lands, and climate resilience as advantages of the grain, Kumar said that the declaration will empower smallholder farmers, address the challenges of climate change in agriculture, transform agri-food systems, and contribute to sustainable development.

Wednesday, 4 March 2020

Concerns over Coronavirus Outbreak and its economic impact intensifies in Korea


 Korea is trying its best to contain the novel coronavirus (officially declared as COVID-19 by the WHO).  In the opening remarks of the 7th Cabinet Meeting, President Moon Jae-in highlighted  the importance of preemptive and extraordinary measures for both public safety and people’s livelihoods. In the meeting it has been shared that Korean people have the power to revive this medical emergency because Korea has world-class quarantine and medical systems. If Korean people will follow personal hygiene guidelines , believe in the Government’s rejoinders, continue normal economic activities in daily lives, economy can be rapidly recovered, the president added in the meeting.  


 On the economic front, interruption to South Korean manufactures were initially considered as temporary but delay in production has affected seriously due to the increased numbers of virus suspected and confirmed cases in South Korea. Delay in production have raised concerns over expected supply chains and consumption of the consumers. Consumer survey for Bank of Korea for the month of February 2020 showed that the Composite Consumer Sentiment Index(CCSI) STOOD 96.9 which is 7.3 points lower than that of January.

 In the survey, consumer sentiment concerning current domestic economic conditions was also found 12 points lower than in January, at 66, and that concerning future domestic economic conditions was 11 points down, at 76. It is noteworthy that Experts cautioned about the economic impact from the virus because of the quarantine measures kept two areas of Korea heavily affected with people staying home and major events cancelled/delayed.


                                               [Image source: CNBC]

 The Korean government and the people have sent a number of supplies and funds to evacuees from Wuhan, China. It should be noted that Wuhan city has been the epicenter of Corona outbreak. The local city governments are also engaged in distributing hand sanitizers, masks and donations. Evacuees in Korea who completed their two weeks of quarantine left placards expressing their thankfulness while leaving the quarantine facilities. However, South Korean president Moon Jae-in has emphasized on considering emergency steps to  tackle the situation as growing crisis from this deadly virus can bring an economic crisis  because of the China reliant Korean economy. Experts have already  alarmed that Coronavirus is going to bring slowdown of China’s growth which would further affect its neighbors too.

[Source: Cheong wa dae briefing/Bank of Korea] 

Monday, 17 February 2020

Korea to develop financial data exchange ecosystem


Korean government is set to run a financial data exchange platform this year in march. In order to accelerate the financial industry’s digital transformation, the financial services commission(FSC) of Korea will set up a financial security institute that will provide innovation data exchange solutions while ensuring the security and safety of data transactions. Data convergence management, evaluation of pseudonymised information , safety and security in data exchange will be major goals of this  specialized agency. Financial industry is one of the sectors where the use of big data is most active because of the high linkages to other sectors and accuracy of data. Last year in June, the FSC announced its plan to establish financial big data infrastructure tofacilitate the use of big data in the financial sector. 

                                          [Image source: google.com]

Further to this development, revision of Credit Information Use and Protection act was passed recently in January 2020 by the National Assembly of Korea which is expected to expand the level of supply and demand in data marketplace and promote safety and security in data distribution. In the press release published on Jan 21, the FSC has confirmed the establishment of a public-private joint council led by the FSC and composed of financial institutions and fintech firms. This public-private joint council is to operate working groups of supply &demand , guidelines to establish standards on procedures data excanhge and the policy support in data exchange.

Data industry experts are seeing this move as major facilitator that would provide an appropriate standard for the pricing of data.


[Source: Press Release of Financial Services Commission on Jan. 21

http://meng.fsc.go.kr/]

CBRE Predictions on Korea’s Real Estate

South Korea’s real estate market continue expectant. According to a recent summary report named Real Estate Market Outlook 2020:Korea published by the CBRE, a leading US-based commercial real estate service provider,  public investment in the real estate market is poised to grow despite the record low interest rates and global economic instability. 



 The report further discerns that because the ministry of land, infrastructure and Transport anticipates an increment in the public investments from 3.7% in 2019 to 10% in 2021. It is noteworthy that the Domestic real estate investment trusts (REITs) are looking for an initial public offering (IPO) in the Korea’s stock market and drawing attention of in the market.

 In the later half of 2019, Lotte REIT and NongHyup REIT had decided to go public and following their footsteps, IGIS which is Korea;s largest real estate related assets operator is also planning to list its REIT fund this year.


[Source:  cbrekorea.com/koreatimes.co.kr]

कोरियाई प्रायद्वीप का बदलता भू-राजनीतिक परिदृश्य

 कोरियाई प्रायद्वीप पर उत्तर और दक्षिण कोरिया के संबंधों की वर्तमान स्थिति एक नए युग की भू-राजनीतिक प्रतिस्पर्धा का प्रतीक है। यह बदलाव वैश्...